श्रीखंड भारत के दो राज्यों में अत्यधिक प्रसिद्ध है और इसकी शुरुआत भी इन्ही राज्यों में हुई थी जो कि हैं महाराष्ट्र और गुजरात | इस लेख में आपको वो छोटी छोटी बातें भी बताई जाएंगी जो श्रीखंड को ‘फ्लेवर्ड दही’ से भिन्न बनाते हैं | इस मिष्ठान को बनाने कि विधि कुछ इस प्रकार है : –
तैयारी
- श्रीखंड के लिए हम 1 किलो दही लेंगे | खाने वालों कि संख्या के अनुसार इसकी मात्र बढ़ या घट सकती है | दही को मलाईदार और गाढ़ा होना आवश्यक है | श्रीखंड स्वादिष्ट तभी बनता है जब दूध कि क्रीम अलग न की गई हो | ऐसे दूध से जमाया गया दही मलाईदार और गाढ़ा होता है और इस मिष्ठान के लिए उपयुक्त भी |
- एक सूती कपड़े में हम इस दही को बांध देंगे और अपने आप इसका पानी निकालने देंगे। यह दही का पानी फेकने से बचें क्यूंकी इसका प्रयोग सब्ज़ी बनाने में और पूड़ी का आटा सानने में किया जा सकता है |
- सूती कपड़े में बंधे दही को हम बीस घंटे फ्रिज में रखेंगे | इसे रखते समय यह न भूले कि इसका पानी निकलते रहना चाहिए | आप एक कटोरे का प्रयोग करें और उसके ऊपर स्ट्रेनर/ छननी रखें | उस स्ट्रेनर में सूती कपड़े में बांदा दही रखकर उसके ऊपर कोई भारी वस्तु जैसे कि पत्थर रख सकते हैं | ऐसा हम इसलिए करते हैं कि दही जब हम बाहर निकाले तो उसका एक चक्का बन गया हो जैसे पनीर का होता है |
- निर्धारित समय बीतने के बाद हम दही कपड़े से बाहर निकालेंगे और इसे एक कटोरे में फेटेंगे | दही को फेटने का उद्देश्य केवल इतना है कि इसका घी हम निकाल सकें और इसे चिकना यानि क्रीमी बना सकें। यह आप दही को कपड़े में बंधे बंधे भी कर सकते हैं | बस ऐसे में उसे बाहर से ही सानना व मसलन होता है | यदि फेटने के लिए कोई यंत्र हो तो उसका उपयोग भी किया जा सकता है |
- दस मिनट फेटने के बाद दही में तीन चम्मच मलाई और पाँच चम्मच पीसी हुई चीनी डालें | इसे अच्छे से मिलाएँ |
- पाँच चम्मच गरम दूध में केसर मिलाएँ और इसके ठंडे होने पर श्रीखंड के दही में मिला दें | केसर कि रंगत और उसकी सुगंध से श्रीखंड और स्वादिष्ट प्रतीत होगा |
- इसके बाद इसमें बारीक कट हुआ काजू , पिस्ता , बादाम और एलाईची पाउडर डालें और अच्छे से मिलाएँ |
- श्रीखंड सामान्य तापमान में नहीं खाया जाता है | इसलिए हम इसकी सजावट केसर बादाम से करेंगे और एक मिट्टी या कांच के बर्तन में इसे दो घंटे के लिए फ्रिज में रख देंगे |
- दो घंटे के बाद जब आप इसे परोसेंगे या स्वयं खाएंगे तो यह मलाईदार भी होगा और हल्का चिकना भी |
नोट
श्रीखंड बनाते समय इन सारी अहम बातों का ध्यान रखें ताकि आपका श्रीखंड बाज़ार में मिलने वाले मीठे दही से मेल न खाए और शुद्ध श्रीखंड का स्वाद भी दे | इस विधि की बारीकियाँ ही श्रीखंड को फ्लेवर्ड दही से अलग बनाती हैं |